वनस्पति पारद बंधन बुटिका एंव अगनी स्थाई पारा बनाये
आप को सबसे पहलै अरिठे के पत्ते, अरंडी के पत्ते दोनो पेड के पत्ते पांच लेना हे फिर खरल मे बारिक पीस कर पारा खरल करे 30मि.पारा ठोस रुप ले लेगा खरल करने के बाद पारे को खरल करते समय ही पानी से अच्छी तरह धोना हे जिससे की पारे से पत्ती के टुकडे ओर बारिक अंश निकल जाय उसके बाद एक धतूरे का फल लेकर उसे डंठल के यहा से छेद करके उसके सारे बिज एक कटोरी मे निकाल ले उसके बाद आपने जो पारद ठोस किया हे उसकी एक गोली बना ले जो धतूरे के फल के अंदर ठीक रखी जा सके उसमे रखने के बाद उपर से सारे बिज भरदे ओर कपड मिट्टी करदै फल के चारो तरफ मुलतानी मिट्टी 100ग्राम मेदस ग्राम सुहागा बारिक पिस कर डलले उससे कपड मिट्टी बहुत ही मजबुत बनती ओर कपडा जलता भी नही हे इसको अच्छी तरह धुप मे सुखा लेने के बाद आप एक छोटी मटकी ले उसमे कली वाला बारिक चुना भर दे आधी भरने के बाद इस कपड मिट्टी को बिच मे रखे उपर से फिर चुना डालदे ओर अच्छी तरह दबा दे हल्के हाथ से उपरे एक ढक्कन लगा दे मटकी के उपर फिर कपड मिट्टी करे सुखने के बाद आप इसे उपले से चारो तरफ ढक कर आग लगा दे चार घंटे आग मे रहने दे पुरी तरह ठंडा होने पर उसे खोले उसके बाद आपको अग्नि स्थाई पारे की पारद बुटिका मीलती हे एक दम ओरिजनल आप इसे गले मे धारण करे या ओर अन्य काम मे ले ।
Guruji jo aapne bataya u si tarha kits arithe k 5 A Randi k 5 patte kharal kiya lekin para ki goli nahi bani
ReplyDeleteKbhi nhi banegi goli.kyoki guruji para bhi nhi dekha he. Kahi se suna aur likh diya. Pare ke 8sanskar karke fir bahut butiya he Jo goli banati he kam me le.
DeleteNahi banta hai ..fake
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